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खुद हटे तो फायदे में रहेंगे? जस्टिस वर्मा के पास महाभियोग से बचने का अब 'इस्तीफा' ही एकमात्र रास्ता!

नई दिल्ली, 9 जून 2025 — इलाहाबाद उच्च न्यायालय के जस्टिस यशवंत वर्मा के खिलाफ महाभियोग की प्रक्रिया शुरू होने के बीच, उनके पास अब अपने करियर और भविष्य को सुरक्षित करने का एक ही विकल्प बचा है। सूत्रों के अनुसार, यदि जस्टिस वर्मा इस्तीफा देते हैं, तो उन्हें महाभियोग से बचने और अपने पद से हटने का अवसर मिल सकता है।  
मामले में कानूनी और राजनीतिक स्तर पर चर्चा तेज हो गई है। जस्टिस वर्मा के खिलाफ महाभियोग की प्रक्रिया आगे बढ़ने से पहले, उनके समर्थक और कानूनी विशेषज्ञ यह सुझाव दे रहे हैं कि यदि वह अपने पद से त्यागपत्र दे देते हैं, तो इससे उन्हें महाभियोग के कठोर कदम से राहत मिल सकती है।  
बता दें कि इस विवाद के चलते जस्टिस वर्मा का भविष्य और कार्यकाल संकट में पड़ गया है, जबकि उनके समर्थक उनका समर्थन कर रहे हैं। वहीं, विपक्षी दल और कुछ न्यायिक विशेषज्ञ महाभियोग की प्रक्रिया को अंतिम विकल्प मानते हुए जस्टिस वर्मा को अपने पद पर बने रहने का सुझाव दे रहे हैं।  
यह मामला राष्ट्रीय स्तर पर चर्चा का विषय बन गया है, और राजनीतिक दलों के साथ-साथ न्यायपालिका में भी इसको लेकर बयानबाजी हो रही है। यदि जस्टिस वर्मा इस्तीफा देते हैं, तो इससे उनके करियर का अंत होने के साथ ही, भविष्य की पेंशन और अन्य सुविधाओं का भी सवाल खड़ा हो सकता है।  
वर्तमान में, जस्टिस वर्मा के पास अपने विकल्पों पर विचार करने का समय है। हालांकि, सूत्रों का कहना है कि महाभियोग से बचने का एकमात्र संभव रास्ता उनका इस्तीफा ही हो सकता है।  
यह खबर अभी विकासशील है, और आगे की जानकारी का इंतजार किया जा रहा है।

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